सुप्रीम कोर्ट ने पहली बार की सबसे बड़े फेरबदल की सिफारिश, उच्च न्यायालयों के 41 जजों के बदलाव की मांग

नई दिल्ली ।

सुप्रीम कोर्ट ने उच्च न्यायालयों में पहली बार सबसे बड़ा फेरबदल किया। दरअसल, भारत के प्रधान न्यायाधीश एनवी रमन्ना की अगुवाई में सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम ने उच्च न्यायालयों के 41 न्यायाधीशों की भूमिका में बदलाव की सिफारिश की है। कहा जा रहा है कि ऐसा पहली बार हुआ है, जब सुप्रीम कोर्ट ने एक बार में इतनी बड़ी संख्या में नामों की सिफारिश की है। कॉलेजियम ने हाईकोर्ट के 8 जजों को अलग-अलग उच्च न्यायालयों के मुख्य न्यायाधीश और एचसी के 5 चीफ जस्टिस को किसी अन्य एचसी का प्रमुख बनाने की सिफारिश की गई है।
मीडिया की रिपोर्ट के मुताबिक, जस्टिस यूयू ललित, एएम खानविलकर, डीवाई चंद्रचूड़ और एलएन राव भी इस कॉलेजियम में शामिल थे। इस दौरान 28 एचसी जजों के तबादले करने की भी सिफारिश की गई है। कॉलेजियम की तरफ से दिए गए 41 नामों में 13 हाईकोर्ट के चीफ जस्टिस हैं और 28 जज हैं। उम्मीद की जा रही है कि सभी सिफारिशें आगे की प्रक्रिया के लिए केंद्रीय कानून मंत्रालय तक शनिवार को पहुंचेंगी।
कलकत्ता हाईकोर्ट के कार्यकारी मुख्य न्यायाधीश राजेश बिंदल को इलाहबाद हाईकोर्ट का चीफ जस्टिस बनाने की सिफारिश की गई है। त्रिपुरा एचसी के प्रमुख अकील कुरैशी का तबादला राजस्थान करने की बात कही गई है। ट्रांसफर किए गए 4 अन्य चीफ जस्टिस में जस्टिस अरूप कुमार गोस्वामी (आंध्र प्रदेश एचसी से छत्तीसगढ़ एचसी), मोहम्मद रफीक (मध्य प्रदेश एचसी से हिमाचल प्रदेश एचसी), जस्टिस इंद्रजीत महंती (राजस्थान एचसी से त्रिपुरा एचसी) और जस्टिस विश्वनाथ (मेघालय एचसी से सिक्किम एचसी) का नाम शामिल है ।

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