गुजरात के बडग़ाम विधायक जिग्नेश मेवाणी की गिरफ्तारी असंवैधानिक – आराधना मिश्रा

लखनऊ

कांग्रेस विधानमण्डल दल की आज एक आपात बैठक में नेता कांग्रेस विधानमण्डल दल श्रीमती आराधना मिश्रा मोना, नेता कांग्रेस विधान परिषद दल दीपक सिंह, विधायक वीरेन्द्र चौधरी उपस्थित रहें। बैठक में गुजरात के बडग़ाम विधायक जिग्नेश मेवाणी को प्रधानमंत्री पर किये गये ट्वीट के आधार पर कोकराझार पुलिस द्वारा गिरफ्तार किए जाने की कड़ी निन्दा की गयी। बैठक में इसे असम की भाजपा सरकार के तानाशाहीपूर्ण रवैए का नतीजा बताया गया।
श्रीमती आराधना मिश्रा मोना ने कहा कि लोकतंत्र में प्रधानमंत्री हो या मुख्यमंत्री यदि उनका रवैया जनविरोधी दिखे तो विपक्ष का धर्म होता है सरकार को आईना दिखाये। साथ ही विपक्ष, आम जनता, पत्रकार, कवि, लेखक सभी सरकार से सवाल करते है तथा आलोचना भी करते है। यही लोकतंत्र की खूबसूरती है।
श्रीमती मोना ने आगे कहा कि पहली बार यह देखा जा रहा है कि केन्द्र या भाजपा शासित प्रदेशों में सरकार से सवाल पूछने पर, ट्वीट करने पर प्रताडि़त किया जाता है। ऐसी तमाम घटनायें हो रही हैं। अभी हाल ही में भाजपा के रास्ते पर चलते हुए पंजाब की सरकार के शह पर वहां कि पुलिस ने भी पूर्व विधायक अलका लाम्बा जी एवं मशहूर कवि कुमार विश्वास के खिलाफ एफ0आई0आर0 दर्ज कर पुलिस भेजी। यह संविधान में मिले मौलिक अधिकार का हनन है।
श्रीमती मोना ने आगे कहा कि गुजरात चुनाव को देखते हुए भाजपा चाहती है कि कोई भी सरकार से सवाल ना पूछे। एक जनप्रतिनिधि जो दलित समाज से आता है उसकी आवाज दबाने के लिए भाजपा सरकार द्वारा तरह-तरह के हथकण्डे अपनाये जा रहे है ताकि श्री जिग्नेश मेवाणी के मनोबल को तोड़ा जा सके लेकिन कांग्रेस ऐसा होने नही देगी। कांग्रेस पार्टी श्री जिग्नेश मेवाणी के साथ हर कदम पर खड़ी है। भाजपा सरकार को यह नहीं भूलना चाहिये कि यह प्रजातंत्र है सरकारे आती जाती रहती है। द्वेष की भावना से किये गये किसी भी काम का जवाब समय आने पर जनता जरुर देती है।
विधायक वीरेन्द्र चौधरी ने कहा कि जिग्नेश मेवाणी को गिरफ्तार करने से पहले विधानसभा अध्यक्ष से भी अनुमति नहीं ली गयी, जो सरासर ग़लत है। कांग्रेस पार्टी इसका पुरजोर विरोध करती है। दीपक सिंह ने कहा कि यह लड़ाई अब गांधी और गोडसे को मानने वालों के बीच है। श्री मेवाणी का ट्विट और उस पर हुई कार्रवाई इसी का सबूत है। गांधी की सेना के रूप में सभी कांग्रेसजन जिग्नेश मेवाणी के साथ खड़े हैं।
अंत में कांग्रेस विधानमण्डल दल ने असम पुलिस द्वारा भाजपा सरकार के इशारे पर योजनाबद्ध और असंवैधानिक तरीके से की गई गिरफ्तारी का विरोध करते हुए तत्काल श्री जिग्नेश मेवाणी के रिहाई की मांग का प्रस्ताव पारित किया।

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